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Latest News:

बिटिया की बातों के कुछ पल 25 Feb 2013 | 07:00 am

Normal 0 false false false EN-US X-NONE HI MicrosoftInternetExplorer4 जाह्न्‍वी बिस्‍तर पर सोने के लिए जा रही है. मैंने तकिया रजाई वगैरह व्‍यवस्थित कर दी है. मैं अपने टेबल पर. लैपटॉप ऑन किया ...

अपना मोर्चा में अप्रकाशित पत्र 20 Feb 2013 | 01:02 pm

Normal 0 false false false EN-US X-NONE HI MicrosoftInternetExplorer4 (यह पत्र दि.14 दिस. 2012 को जीमेल के माध्‍यम से editorhans@gmail.com को लिखा था) पिछले कई अंकों से हंस में डॉ भीमराव अम्...

दिल्‍ली यात्रा व संजय ग्रोवर से एक मुलाकात 8 Feb 2013 | 07:33 pm

पिछले महीने की अंतिम तारीख को एक शादी में दिल्‍ली पधारना हुआ. कुछ और भी मित्र साथ थे. बाद में वापस आकर सोचे कि अच्‍छा हुआ फरवरी की बाढ़ आने से पहले कार्यक्रम निपट गया. वरना वहॉं स्‍वच्‍छंद विचरण न कर ...

जनवरी गमन 30 Jan 2013 | 07:30 am

Normal 0 false false false EN-US X-NONE HI MicrosoftInternetExplorer4 नए साल के पहले महीने का अंत करीब आ चुका है. बस अंतिम सांसे गिन रहा है. साल 2013 का एक महीना खर्चा हो गया. समय एक ऐसी पूँज...

काला दिन 30.12.12 31 Dec 2012 | 07:30 am

Normal 0 false false false MicrosoftInternetExplorer4 वह लडकी जो एक प्रतीक बन चुकी है। समाज और प्रशासन की असंवेदनशीलता का। साथी ही हमारे तंत्र की असफलता का जिसकी वजह से उसकी मृत्‍यु हुई। कल न्‍...

रेप कैपिटल 18 Dec 2012 | 08:23 am

Normal 0 false false false MicrosoftInternetExplorer4 दिल्‍ली क्राइम कैपिटल से और विशेषीकृत होकर रेप कैपिटल बन गई है। इस शहर में महिलाओं से होने वाले दुर्व्‍यवहार के ऑंकडे देश के अन्‍य शहरों से ...

फूट डालो जमे रहो 14 Dec 2012 | 10:55 am

कई दिन से कॉलोनी में ऑटोरिक्‍शा में कांग्रेस-भाजपा के प्रचार वाले भोंपू बजाते आते रहते हैं। उनमें कभी रिकार्डेड गाने लगे होतें हैं, कभी कोई माइक थामे बैठा रहता है। कभी-कभी तो मिडिल क्‍लास वाले स्‍कूली...

आई बरसात तो बरसात ने दिल तोड दिया 1 Jul 2012 | 02:29 am

हम तो समझे थे कि बरसात में बरसेगी शराब / आई बरसात तो बरसात ने दिल तोड़ दिया इस मानसून में सुदर्शन फाकिर   की  यह लाइन बहुत मौजूं हैं। बरसात में शराब तो बरसने से रही पानी भी नहीं बरस रहा। सुदर्शन फाकि...

सडक-रेल छाप नोट्स 28 May 2012 | 03:16 pm

सडक किनारे पंजाबी, चाइनीज, दक्षिण भारतीय खाने की दुकानों, आइसक्रीम, सोडा के ठेलों के ठीक बगल में, पडे रहते हैं तम्‍बू ताने लोग अपनी रोटी खाते भात पकाते, इतने करीब की हमारी कुर्सी और उनकी टूटी खटिया मे...

नया खिलौना 30 Apr 2012 | 12:30 pm

नया खिलौना मैंने पाया मेरे मन को है यह भाया खेलूं मैं इससे सारा दिन रहूं नहीं पल भर इसके बिन बच्‍चों को जब इसे दिखाया सबके मन में लालच आया पक्‍का साथी हमें बना लो हमको अपनी ओर मिला लो देखो तुम ह....

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नमस्ते, ब्रेक के बाद, पागल, तर्क

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